जीवन....घटनाओ और संभावनाओ से निर्मित समय काल और शास्वत सत्य का रूप ॥
में लगभग ४ वर्ष से इंटर नेट का उपयोग कर रहा हु ,कई घटनाये हुई और कई अनुभव भी सिखने को मिले ...सबसे बड़ा लाभ ये हुआ की जो पुराने दोस्त ख़राब समय में साथ छोड़ गए वो भरपाई यहाँ कुछ हद तक हुई .हालाँकि वो एक सिमित दायरे के मित्र बने लेकिन संपर्क बना। कुछ दोस्त शुरू से अब तक बने हुए हे और पुरे विश्वास के साथ बने हुए हे ,कुछ समय के साथ भुला दिए गए हे कुछ माध्यम बदल जाने के साथ छुट गए हे ,....
मेरे घर के बगल में रहने वाले जो मेरे बचपन से मुझे जानते हे या में जिनको जानता हु उनसे भी मेरा वर्षो से कोई विशेष संपर्क नहीं हे मगर नेट पर कुछ लोगो के साथ मेरा नियमित संपर्क बना हुआ हे ,ये एक अजीब सा रिश्ता हे जहा मेरा उनके साथ किसी तरह से कोई सामाजिक या आर्थिक सम्बन्ध नहीं हे लेकिन नियमित चर्चा एक सूत्र हे .
में लगभग ४ वर्ष से इंटर नेट का उपयोग कर रहा हु ,कई घटनाये हुई और कई अनुभव भी सिखने को मिले ...सबसे बड़ा लाभ ये हुआ की जो पुराने दोस्त ख़राब समय में साथ छोड़ गए वो भरपाई यहाँ कुछ हद तक हुई .हालाँकि वो एक सिमित दायरे के मित्र बने लेकिन संपर्क बना। कुछ दोस्त शुरू से अब तक बने हुए हे और पुरे विश्वास के साथ बने हुए हे ,कुछ समय के साथ भुला दिए गए हे कुछ माध्यम बदल जाने के साथ छुट गए हे ,....
मेरे घर के बगल में रहने वाले जो मेरे बचपन से मुझे जानते हे या में जिनको जानता हु उनसे भी मेरा वर्षो से कोई विशेष संपर्क नहीं हे मगर नेट पर कुछ लोगो के साथ मेरा नियमित संपर्क बना हुआ हे ,ये एक अजीब सा रिश्ता हे जहा मेरा उनके साथ किसी तरह से कोई सामाजिक या आर्थिक सम्बन्ध नहीं हे लेकिन नियमित चर्चा एक सूत्र हे .
good attempt, carry on
ReplyDeletethnx navi...
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